जयपुर। दिल्ली में लाइब्रेरी में पानी भरने से तीन छात्रों के मारे जाने के बाद राजस्थान प्रदेश में कोचिंग संचालकों और लाइब्रेरी को सीज करने तथा नोटिस देने की कार्रवाई से मची अफरा-तफरी के बीच में ऑल कोचिंग इंस्टिट्यूट महासंघ के पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री आवास में जाकर गुहार लगाई। जिस पर फायर एनओसी प्राप्त करने तथा सुरक्षा मानक को अपनाने की शर्त पर कोचिंग संचालकों तथा लाइब्रेरी संचालकों को राहत प्रदान करने के संकेत मिले हैं।
लेकिन यह राहत शपथ पत्र के आधार पर दी जाने की संभावना है। ऑल कोचिंग इंस्टिट्यूट महासंघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष आर सी शर्मा, राष्ट्रीय महासचिव सिराज खान, प्रदेश अध्यक्ष अनीष कुमार, प्रदेश महासचिव अजय अग्रवाल, प्रदेश उपाध्यक्ष डॉ किरण, वरिष्ठ पदाधिकारी डॉक्टर रुचि जैन, घनश्याम बेनीवाल तथा अन्य पदाधिकारियों के नेतृत्व में सोमवार को मुख्यमंत्री आवास पर हुई चर्चा के बाद यह जानकारी सामने आई है।
ऑल कोचिंग इंस्टिट्यूट महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष अनीष कुमार ने बताया कि सोमवार को जयपुर ग्रेटर कमिश्नर रुक्मणी रियाड से सीज की गई संस्थाओं के कारण परीक्षा की तैयारी से वंचित छात्रों की पीड़ा को ध्यान में रखते हुए सुरक्षा मानक के उपकरण लगाने एवं फायर एनओसी प्राप्त करने के लिए 15 दिन मांगा गया है। जिस पर नगर निगम आयुक्त रुक्मणी रियाड ने अधिकारियों को दिशा निर्देश दिए हैं।
प्रदेश महासचिव अजय अग्रवाल ने बताया कि बार-बार की परेशानी से निजात दिलाने के लिए सरकार को स्थाई समाधान के लिए सोचना चाहिए ताकि कोचिंग व्यवसाय बिना किसी रूकावट के सही दिशा में चलती रहे। वहीं इस दिशा में गोपालपुरा बाईपास स्थित डागुर्स कोचिंग हब के संचालक रघुवीर सिंह डागुर ने स्थाई समाधान के लिए गोपालपुरा बाईपास पर ही कोचिंग हब डेवलप करने की बात कही हैं।
इस दिशा में शीघ्र ही सभी संगठन एक साथ मिलकर स्थाई समाधान निकालने पर विचार कर रहे हैं स्थाई समाधान के लिए आंदोलन की भी रणनीति पर विचार किया जा रहा है। प्रदेश अध्यक्ष अनीष कुमार ने अफसोस जताया है कि राज्य सरकार हजारों करोड रुपए खर्च कर बनाए गए कोचिंग हब को सफल नहीं कर पा रही।