जयपुर। जयपुरिया प्रबंधन संस्थान जयपुर ने ‘वित्तीय सेवाओं में डिजिटल परिवर्तन’ विषय पर वित्त सम्मेलन का आयोजन किया। कार्यक्रम में डिजिटल युग में वित्त के उभरते परिदृश्य का पता लगाने के लिए विशेषज्ञों के पैनल में डॉ. कंगाराज अय्यालुसामी, वित्त के प्रोफेसर, एक्सएलआरआई जमशेदपुर, सीए नेहा रूंगटा, निदेशक – रणनीतिक वित्त, बिक्री और परिवर्तन और आंचल अग्रवाल जैन, प्रबंधक, सरकारी परामर्श और पूर्व आरबीआई अधिकारी शामिल थे। डॉ. कंगाराज अय्यालुसामी ने कहा, “कोई भी व्यवसाय अब डिजिटल परिवर्तन से नहीं गुजर रहा है।
आज की पीढ़ी स्वाभाविक रूप से तकनीक के साथ सहज है । सीए नेहा रूंगटा ने आज के तेज गति वाले वित्तीय क्षेत्र में सफल होने के लिए तकनीकी-वित्त मानसिकता विकसित करने के महत्व पर प्रकाश डाला। उन्होंने उभरती हुई प्रौद्योगिकियों के साथ तालमेल बिठाने और प्रतिस्पर्धी बने रहने के लिए प्रासंगिक कौशल हासिल करने की आवश्यकता पर जोर दिया। वित्त के मूलभूत सिद्धांतों पर विचार करते हुए, आंचल अग्रवाल जैन ने वित्तीय बुनियादी बातों के साथ डिजिटल नवाचार को संतुलित करने की आवश्यकता पर जोर दिया।
उन्होंने कहा, “वास्तविक समय का डेटा बेहतर निर्णय लेने, ग्राहक अनुभव को बेहतर बनाने और परिचालन दक्षता को बढ़ावा देकर बैंकिंग क्षेत्र में क्रांति ला रहा है।” कार्यक्रम की शुरुआत डॉ. राजेश सिन्हा के स्वागत भाषण से हुई। उन्होंने वित्त में डिजिटल नवाचार की परिवर्तनकारी भूमिका पर अंतर्दृष्टि साझा की। इसके बाद एक पैनल चर्चा हुई जिसका संचालन डॉ. राजेश सिन्हा ने किया। सम्मेलन का समापन डॉ. शुभम सिंघानिया द्वारा दिए गए धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ।