April 24, 2025, 6:30 am
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शिवयम हुईं छोटीकाशी, बड़ी संख्या में कावड़ लेकर शिवालय में पहुंचे भक्त

जयपुर। छोटीकाशी में रविवार को शिवमय हो गई। शिवालय हर हर महादेव… ऊं नम: शिवाय से गुंजायमान रहें। सुबह ब्रह्म मुर्हूत में शिवालयों के पट खुलने से लेकर रात शयन तक मंदिरों में शिव भक्तों का तांता लगा रहा।

हर कोई आदिदेव महादेव की साधना में लीन रहा। सावन के चलते  श्रद्धा और विश्वास के साथ अपने  भगवान भोलेनाथ का दूध, दही, बूरा, शहद, घी, गंगाजल, नारियल पानी, शरबत, बिल्व रस से अभिषेक कर रोली, मोली, चावल, बिल्व पत्र और धतूरे से पूजा की। बड़ी संख्या में गलता से कावड़ लाकर भक्तों ने शिवालयों में अर्पण की।

शिवालयों में कैलाश मानसरोवर तथा अमरनाथ की तर्ज पर रंगीन बर्फ से आकर्षक झांकियां सजाई गई। भोलेनाथ कहीं बाबा अमरनाथ बर्फानी के रूप में नजर आएं तो कहीं शांताकारं भुजगशयनं के रूप में कैलाश पर्वत पर ध्यानस्थ मुद्रा में दर्शन देते देखा गया।

 झारखंड महादेव मंदिर

 क्वींस रोड स्थित झारखंड महादेव मंदिर में सुबह से शाम तक श्रद्धालुओं ने दर्शन कर अभिषेक किया। सुबह 4: 30 बजे से भक्तों ने लाइन में लगकर भोलेनाथ का अभिषेक करने के लिए इंतजार किया। भक्तों के सहयोग के लिए बड़ी संख्या में कार्यकर्ता उपस्थित रहें।

 चौड़ा रास्ता स्थित ताड़केश्वर महादेव मंदिर

 चौड़ा रास्ता के ताड़केश्वर महादेव मंदिर में भी दिनभर भक्तों का तांता लगा रहा। भोले के भक्तों ने बाबा का तीर्थ नगरी गलता के पवित्र जल से उनका अभिषेक किया। जिसके पश्चात देर  शाम को फूल बंगला झांकी सजाई गई।

 आमेर रोड काला महादेव मंदिर

 आमेर रोड स्थित गोविंद देवजी मंदिर के काला महादेव मंदिर में बड़ी संख्या में भक्तों ने पहुंचकर भोलेनाथ की आराधना की।इसी के साथ भोले के भक्तों ने दूध, दही, बूरा, शहद, घी, गंगाजल, नारियल पानी, शरबत, बिल्व रस से अभिषेक कर रोली, मोली, चावल, बिल्व पत्र और धतूरे से पूजा की।

झोटवाड़ा रोड के चमत्कारेश्वर, बनीपार्क के जंगलेश्वर, रामगंज के ओंडा महादेव, आमेर के भूतेश्वर, कूकस के सदाशिव ज्योर्ति लिंगेश्वर सहित अनेक शिव मंदिरों में भी कावड़ चढ़ाने  के बाद विशेष झांकी के दर्शन हुए। भगवान भोलेनाथ का थाईलैंड, बेंगलूरु, कोलकाता के फूलों से विशेष श्रंगार किया गया। छोटीकाशी के सभी शिवालयों में भोलेनाथ के भक्त हर-हर महादेव के साथ आशुतोष भगवान का अभिषेक और पूजा-अर्चना की। बड़े शिवालयों में जलाभिषेक के लिए भक्तों की संख्या अधिक रही। महाकाल की नगरी उज्जैन और काशी सहित अन्य नगरों के विद्वानों ने छोटी काशी के पंडितों के साथ भगवान भोलेनाथ के विशेष अनुष्ठान संपन्न करवाए। शिवजी का अभिषेक के लिए रामेश्वरम्, हरिद्वार, ऋषिकेश सहित अन्य तीर्थों का जल मंगवाया गया।

 सिटी पैलेस स्थित राजराजेश्वर मंदिर में भी श्रद्धालुओं ने दर्शन कर सुख समृद्धि की कामना की।

 गन्ने के रस से बाबा का अभिषेक करने से होती है मनोकामना पूर्ति

 ज्योतिष विद्वानों के अनुसार सोमवार को भगवान भोलेनाथ का दूध गंगाजल, गन्ने का रस, घी और जल से अभिषेक करने से मनोकामना पूर्ति होती है। सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है। सावन मास के सोमवार पर जलाभिषेक का विशेष महत्व बताया गया है। इससे शिव भक्तों की हर मनोकामना पूरी होती हैं। इस बार श्रावण मास का प्रारंभ सोमवार को और समापन भी सोमवार को हो रहा है। पांच सोमवार श्रावण मास में होने से विशेष योगों की भी भरमार रहेगी।

 गलताजी में उमड़े श्रद्धालु

उत्तर भारत की प्रमुख श्री वैष्णव पीठ गलताजी में हजारों की संख्या में श्रद्धालु उमड़ें। गलता परिसर के विभिन्न प्राचीन शिवालयों में भक्ति भाव से पूजा-अर्चना की। यहां दिन भर  यज्ञ, अनुष्ठान, सहस्त्रघट अभिषेक सहित अन्य धार्मिक आयोजन हुए।

 गलता जी में श्रावण मास में हजारों श्रद्धालु एकत्रित होते हैं। श्रद्धालु सड़क और घाटी मार्ग से यहां पहुंचे।

अन्नक्षेत्र, प्रसादी, पेय आदि की नि:शुल्क सेवाओं की व्यवस्था श्री गलता पीठ एवं विभिन्न संस्थाओं की ओर से की गई। गीता जी में इस मौके पर भक्ति संगीत का कार्यक्रम भी आयोजित किया गया। शिवालयों में भगवान भोलेनाथ का आकर्षक श्रृंगार किया गया।

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