जयपुर। श्री कृष्ण बलराम गोसेवा ट्रस्ट के अंतर्गत संचालित हिंगोनिया गोशाला में एक भव्य धार्मिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस अवसर पर भगवान श्री श्री सीता राम लक्ष्मण, एवं भक्त हनुमान की भव्य प्राण प्रतिष्ठा की गई, जिसका नेतृत्व रघुपति प्रभु ने किया।
भगवान श्री राम की प्राण प्रतिष्ठा के लिए अनेक धार्मिक तीर्थ स्थलों से पूजन सामग्री, पवित्र जल और मिट्टी मंगवाई गई थी। इन पवित्र तीर्थों में अयोध्या, पुष्कर, उज्जैन, काशी विश्वनाथ, हरिद्वार, और मिथिला का समावेश था। इस प्रकार, यह कार्यक्रम न केवल भक्तों को एक साथ लाया बल्कि भारत के विभिन्न पवित्र स्थलों की आध्यात्मिकता को भी एक सूत्र में पिरोया।
इस कार्यक्रम में अनेक स्वयंसेवकों, दानदाताओं, और प्रायोजकों का समावेश था, जिन्होंने गोसेवा और प्रसाद वितरण में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। इस आयोजन में गोसेवा के साथ-साथ श्रद्धालुओं के लिए प्रसाद भी वितरित किया गया।
इस आयोजन की विशेषता यह थी कि यह अयोध्या में श्री राम मंदिर के उद्घाटन के 13 दिन बाद में हुआ। इस प्रकार, इस कार्यक्रम ने न केवल भक्तों को एक साथ लाया बल्कि अयोध्या में श्री राम मंदिर के उद्घाटन की आध्यात्मिकता को भी बढ़ावा दिया।
रघुपति प्रभु ने कहा, “यह कार्यक्रम न केवल हमारी आध्यात्मिक परंपराओं को मजबूत करता है बल्कि यह हमें गोसेवा के महत्व को समझने में भी मदद करता है। इस आयोजन के माध्यम से हम श्री रामचंद्र के प्रति अपनी भक्ति को प्रकट करते हैं और गोसेवा को अपना धर्म समझते हैं। अयोध्या में श्री राम मंदिर के उद्घाटन और यहां आयोजित कार्यक्रम के मध्य सेतु का निर्माण करते हुए, इस आयोजन ने धार्मिक एकता और भाईचारे का संदेश दिया।
श्रद्धालुओं और आगंतुकों ने इस कार्यक्रम की भरपूर प्रशंसा की और इसे एक यादगार अनुभव बताया। श्री कृष्ण बलराम गोसेवा ट्रस्ट और हिंगोनिया गौशाला के इस प्रयास को समाज के सभी वर्गों से सराहना प्राप्त हुई है, जिससे गोसेवा और आध्यात्मिकता के प्रति लोगों की भावना और अधिक मजबूत हुई है।