मुंबई। ऑनलाइन लर्निंग में भारतीय छात्रों का भरोसा लगातार बढ़ रहा है। इस बात का खुलासा भारत का अग्रणी परीक्षण-तैयारी प्लेटफार्म फिजिक्स वाला (पीडब्ल्यू) के आंतरिक डेटा विश्लेषण से हुआ है। पीडब्ल्यू ने जनवरी 2022 से दिसंबर 2023 की अवधि के लिए अपने ऐप के 27 लाख छात्रों और जनवरी 2023 से दिसंबर 2023 तक की अवधि के लिए यूट्यूब चैनल के 4 करोड़ सब्सक्राइबर्स में एक आंतरिक डेटा विश्लेषण किया और जानकारी साझा की। यह पिछले वर्ष (2022-23) में भारत के ऑनलाइन शिक्षण परिदृश्य के रुझानों और पैटर्न का अवलोकन है।
हिंदी मीडियम बैचों में नामांकित छात्रों की संख्या में पीडब्ल्यू ने 300 प्रतिशत की वृद्धि भी देखी। यह हिंदी में शिक्षा हासिल करने की मांग में बढ़ोतरी का संकेत है। स्थानीय भाषाओं के पढ़ने के इच्छुक छात्रों की संख्या 5 गुना बढ़ी है। मराठी, बंगाली, गुजराती, कन्नड़ और तेलुगु भारत की सबसे अधिक मांग वाली स्थानीय भाषाएँ हैं।
2022 में पेड (सशुल्क) कोर्सेज़ में नामांकित छात्रों की संख्या 8.5 लाख थी जबकि 2023 में यह 24 लाख हो गई। इस तरह पीडब्ल्यू ने ऑनलाइन छात्रों की संख्या में 182 प्रतिशत की वृद्धि देखी। यह कोरोना काल के बाद भी ऑनलाइन कोर्सेज में निवेश करने की छात्रों की प्रबल इच्छा को दिखता है। इसके साथ ही ऐप डाउनलोड में 38% की वृद्धि हुई, जो 2022 में 68 लाख डाउनलोड से बढ़कर 2023 में 94 लाख डाउनलोड हो गई, जिससे 31 दिसंबर 2023 तक कुल 1.62 करोड़ डाउनलोड हो गए। इससे यह पता चलता है कि नए छात्र सक्रिय रूप से डिजिटल तौर पर सीखने के मौकों की तलाश कर रहे हैं।
किफायती पाठ्यक्रम, बहु-गुणवत्ता स्ट्रीमिंग और बढ़ी हुई इंटरनेट पहुंच जैसी विविध ऑनलाइन शिक्षण पेशकशों की एक नई श्रृंखला के साथ, ऑनलाइन सीखने के प्रति छात्रों की रुचि और वफादारी में वृद्धि देखी गई है। पीडब्ल्यू भारत के 98% पिन कोड तक पहुंच गया है, जिससे छात्रों को सशक्त बनाया जा रहा है, जिसमें दूर-दराज के इलाके भी शामिल हैं जहां शैक्षिक संसाधन दुर्लभ हैं।
फिजिक्स वाला के संस्थापक और सीईओ अलख पांडे ने कहा, “यह देखना उत्साहजनक है कि महामारी के बाद ऑनलाइन लर्निंग में गिरावट पर इंडस्ट्री की चिंताओं के बावजूद, यह लगातार बढ़ रहा है। छात्र ऑनलाइन शिक्षण द्वारा मिलने वाले आराम, स्व- गति और वैयक्तिगत अनुभवों को चुन रहे हैं। फिजिक्स वाला हाइब्रिड मॉडल को भविष्य के रूप में देखता है और हर व्यक्ति के लिए अलग शिक्षा को भारत में सीखने के तरीके को बदलने की कुंजी मानता है। हम चाहते हैं कि देश के दूर-दराज के इलाकों में रहने वाले छात्रों की इन संसाधनों तक पहुंच हो, जिससे उन्हें सफलता का सही मौका मिले। इसके लिए हम प्रयासरत हैं।”
छात्रों का भरोसा और बेहतर आधार तैयार करने के लिए सामुदायिक रूप से सिखाना सबसे बेहतर तरीकों में से एक है। यूट्यूब पर मुफ्त शिक्षा देकर पीडब्ल्यू ने ऐसे समुदाय विकसित किये हैं। अब इसके 4 करोड़ सब्सक्राइबर्स और 81 यूट्यूब चैनलों पर 275 करोड़ व्यूज हैं। एक लाख से ज्यादा कंटेंट अपलोड किये जा चुके हैं और साल भर में 20 करोड़ घंटे का वाच टाइम है। चूँकि शिक्षा एक मौखिक व्यवसाय है, यह कोर्सेज़ शुरू होने पर पीडब्ल्यू ऐप पर सशुल्क छात्रों की संख्या बढ़ाने में मदद करता है। 2023 में पीडब्ल्यू ऐप पर 32.71 करोड़ घंटे का वॉच टाइम हो चुका है। कुल 120 करोड़ व्यूज और 53 लाख यूनिक यूज़र्स हैं। इसका मतलब है कि मौजूदा छात्रों की ऑनलाइन कोर्सेज में रुचि बनी हुई है।
इस प्लेटफ़ॉर्म पर ऐप देखने का औसत समय भी प्रतिदिन 50 मिनट से बढ़कर 65 मिनट हो गया है, जिसका मतलब है कि इंटरैक्टिविटी बढ़ने से छात्रों की सहभागिता भी बढ़ती है। इंटरैक्टिव फीचर्स जैसे कि लाइव क्लास के दौरान डाउट्स पूछने की सुविधा, चुनावों में भाग लेना, लाइव चैट का हिस्सा बनना, सामुदायिक प्लेटफ़ॉर्म में शामिल होना, आदि की शुरुआत ने इस प्लेटफ़ॉर्म पर इंटरैएक्टिविटी बढ़ाने में मदद की है। दिलचस्प बात यह है कि ऐप पर आने वाले 33 प्रतिशत छात्र सशुल्क कोर्सेज के लिए पे करते हैं। मतलब छात्र इंटरैक्टिव फीचर्स, वैयक्तिगत शिक्षण और प्रोग्रेस-ट्रैकिंग की सुविधायें चाहते हैं। अधिक इंटरैक्टिविटी और आसान यूजर इंटरफ़ेस छात्रों को बेरोक ऑनलाइन शिक्षण अनुभव देने में अहम हैं। पीडब्ल्यू के ऑफरिंग्स को मान्यता देते हुए इसे Inc42 के एडटेक यूजर्स इन इंडिया सर्वे 2023 के लर्निंग एक्सपीरियंस और यूजर ऐप एक्सपीरियंस में भारत के टॉप एड-टेक प्लेटफॉर्म का दर्जा भी मिला है।
2023 के अन्य अहम रुझानों में से एक संदेह समाधान के मामलों में 200 प्रतिशत की वृद्धि थी। यह 36 लाख से बढ़कर 1.10 करोड़ हो गया। और हल किए गए प्रश्नों की संख्या में 96 प्रतिशत का इजाफा हुआ। यह 92.5 करोड़ से बढ़कर 181 करोड़ हो गई। यह दर्शाता है कि छात्र ऑनलाइन डाउट्स पूछने और उसका समाधान पाने में अधिक सहज हो रहे हैं जबकि पारंपरिक कक्षाओं के दौरान प्रश्न पूछने में झिझकते हैं। यह सक्रिय सीखने और जुड़ाव के लिए अनुकूल माहौल बनाने में एडटेक प्लेटफार्मों की प्रभावी भूमिका का प्रमाण है।
2023 के अन्य अहम रुझानों में से एक संदेह समाधान के मामलों में 200 प्रतिशत की वृद्धि थी। यह 36 लाख से बढ़कर 1.10 करोड़ हो गया। और हल किए गए प्रश्नों की संख्या में 96 प्रतिशत का इजाफा हुआ। यह 92.5 करोड़ से बढ़कर 181 करोड़ हो गई। यह दर्शाता है कि छात्र ऑनलाइन डाउट्स पूछने और उसका समाधान पाने में अधिक सहज हो रहे हैं जबकि पारंपरिक कक्षाओं के दौरान प्रश्न पूछने में झिझकते हैं। यह सक्रिय सीखने और जुड़ाव के लिए अनुकूल माहौल बनाने में एडटेक प्लेटफार्मों की प्रभावी भूमिका का प्रमाण है।
पीडब्ल्यू भारत के 766 जिलों में से 605 में लड़कियों को ऑनलाइन शिक्षा के साथ सशक्त बना रहा है, जिससे भौगोलिक, आर्थिक और अवसर से जुड़ी बाधाओं से पिछड़ी लड़कियों को अपनी शिक्षा जारी रखने में मदद मिल सके।
छात्र-केंद्रित दृष्टिकोण अपनाना और सीखने के निष्कर्षों को तवज्जो देना छात्रों के साथ अच्छे अनुभव के लिए जरूरी है। पीडब्ल्यू अपने छात्रों के साथ सक्रिय बातचीत और नियमित फीडबैक लेकर लगातार अपने छात्र नेट प्रमोटर स्कोर (एनपीएस) को बढ़ा रहा है। विशेष रूप से, पीडब्ल्यू ऐप का एनपीएस 2022 में 50 से बढ़कर 2023 में 54 हो गया है, कंटेंट एनपीएस 4 से बढ़कर 4.5 हो गया है, फैकल्टी एनपीएस 4.2 से बढ़कर 4.6 हो गया है, और टेस्ट और डीपीपी (डेली प्रैक्टिस पेपर) 3.9 से 4.4 हो गया है। यह सुधार ऑनलाइन शिक्षण के बढ़ते प्रभाव को दिखाता है। यह उन छात्रों के रिजल्ट से पता चलता है, जिन्होंने ऑनलाइन कोर्सेज के जरिये तैयारी करके प्रतियोगी परीक्षाओं को उत्तीर्ण किया है।