जयपुर। जयपुर के श्याम नगर थाने इलाके के कटेवा नगर गुर्जर की थड़ी निवासी मोतीलाल सैनी के घर में घुसकर 9 जनवरी की रात को महिलाओं के साथ मारपीट का मामला थमने का नाम नहीं ले रहा है। पुलिस और सिविल लाइंस विधानसभा क्षेत्र विधायक गोपाल शर्मा की मिलीभगत और अलोकतांत्रिक रवैये के विरोध में माली-सैनी समाज लामबंद हो गया है।
साथ ही दोषियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं करने के विरोध करते हुए राजस्थान प्रदेश माली सैनी महासभा, महात्मा ज्योतिबा फुले राष्ट्रीय संस्थान और सैनी अधिकारी कर्मचारी विकास संस्था ने संयुक्त बयान जारी करते हुए कहा कि सरकार को सात दिन का अल्टीमेटम देते हुए चेतावनी दी है कि पीड़ित परिवार को न्याय नहीं मिला तो सड़कों पर उतर कर पूरे प्रदेश में उग्र आंदोलन किया जाएगा। जिसकी समस्त जिम्मेदारी प्रशासन की होगी।
राजस्थान प्रदेश माली सैनी महासभा के प्रदेश अध्यक्ष ताराचंद गहलोत ने कहा कि प्रदेश में हो रहे माली सैनी समाज पर अत्याचार को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। साथ ही उन्होंने सरकार से मांग की है कि पुलिस मोतीलाल सैनी के खिलाफ राजकार्य में बाधा डालने का झूठा मुकदमा वापस लिया जाए, वहीं वीडियो में नजर आ रहे दोषी पुलिस कर्मियों को सस्पेंड किया जाए और साथ ही इस प्रकरण की जांच दूसरे सर्कल के डीसीपी से करवाई जाए। इसके लिए सरकार को चेतावनी देते हुए सात दिन का अल्टीमेटम दिया है अन्यथा माली सैनी समाज की महापंचायत बुलाकर मोतीलाल सैनी के परिवार को न्याय दिलाने के लिए उग्र आंदोलन किया जाएगा। जिसकी जिम्मेदारी सरकार की होगी।
महात्मा ज्योतिबा फुले राष्ट्रीय संस्थान के प्रदेश अध्यक्ष एडवोकेट अनुभव चंदेल ने पुलिस प्रशासन की कार्यवाही पर सवालिया निशाना साधते हुए कहा कि घर के अंदर से पुरुष पुलिस कर्मी बिना किसी महिला पुलिस के महिलाओं को घसीटकर लाना,उनके साथ अभद्रता करना, उनकी लज्जा भंग करना कानून के दायरे से बाहर है।
सीसीटीवी की रिकॉर्डिंग का डीवीआर बिना मकान मालिक की अनुमति के पुलिस उखाड़ कर लाना कानूनन गलत है तथा उसमें रिकॉर्ड साक्ष्यों को मिटाना भी दर्शाता है। किसी भी व्यक्ति के खुद के घर के अंदर से धारा 151 के तहत उन्हें गिरफ्तार करना कैसे संभव हो सकता है। इस घटनाक्रम में पुलिसकर्मियों के साथ में विधायक के पिए और कर्मचारी का होना जांच का विषय है। सिविल लाइन विधायक का घटनास्थल पर पहुंचाना तथा महिलाओं को अभद्र भाषा में बोलना किसी भी सूरत में सही नहीं है।
सैनी अधिकारी कर्मचारी विकास संस्था के पूर्व प्रदेशाध्यक्ष भागचंद सैनी ने कहा कि स्थानीय विधायक गोपाल शर्मा ने समाज के लोगों को एफआईआर दर्ज कराने व 10 दिन में श्याम नगर थाने के पुलिसकर्मियों को हटाने का आश्वासन दिया था। लेकिन 10 दिन बीत जाने पर एफआईआर तक भी दर्ज नहीं की गई हैं।
राजस्थान प्रदेश माली सैनी महासभा के प्रदेश महामंत्री भवानी शंकर माली ने कहा कि पुलिस की यह बर्बरता पूर्ण कार्रवाई मोतीलाल के घर में लगे सीसीटीवी कैमरे में आने से पुलिस ने उनके घर में जबरदस्ती घुसकर सीसीटीवी का डीवीआर साक्ष्य मिटाने के नियत से उखाड़कर ले गई। मोतीलाल व उसके पुत्र कैलाश को धारा 151 में थाने में ले जाकर बिना मेडिकल करवाए उन्हें अगले दिन शाम तक भूखे-प्यासे थाने में बैठाये रखा।
फिर एसीपी के यहां ले जाकर उन्हें जमानत पर रिहा किया। पुलिस ने सिविल लाइन विधायक के दबाव में मोतीलाल सैनी के खिलाफ राजकार्य में बाधा डालने का झूठा मुकदमा दर्ज किया है। पुलिस रोजाना मोतीलाल के घर पर दबिश दे रही है। जिससे परिवार की महिलाएं, बच्चे दहशत में हैं। मोतीलाल की ओर से आज तक भी एफआईआर दर्ज नहीं की गई है। पुलिस की ओर से कार्यवाही नहीं करने पर मजबूरन उन्हें न्यायालय की शरण में जाना पड़ा है।
गौरतलब है कि 9 जनवरी को पुलिस थाना श्याम नगर क्षेत्र के कटेवा नगर में मोतीलाल सैनी के घर पर 7- 8 पुरुष पुलिसकर्मी वर्दी में एवं सिविल ड्रेस में विधायक के पीए/कर्मचारी के साथ आकर उनकी पत्नी व पुत्र विजय सैनी को घसीटते हुए घर से बाहर लाए । तब मोतीलाल की दो बहुएं ममता,पिंकी सैनी व तीन पोतियां बीच बचाव करने आने पर पुलिस द्वारा उन्हें पीटा और घसीटा गया।
जिससे भूमि सैनी (15 वर्ष) के सिर में चोट आई है । मोतीलाल को उसके दूसरे मकान की तीसरी मंजिल से पुलिस घसीटती हुई नीचे लाती है । जिससे उनका बायां पैर फैक्चर हो गया तथा रीड की हड्डी में भी चोटें आई हैं । इस घटना का पड़ोस में रहने वाली एक लड़की ने वीडियो बनाया। जो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।